सोमवार को झारखंड के नगर विकास विभाग ने बड़ी कार्रवाई की है। अपने काम के प्रति लापरवाही बरतने वाले 12 ऑफिसर का कॉन्ट्रैक्ट रद्द कर दिया गया है। साथ ही विभाग में अब इनकी सेवा भी समाप्त कर दी गई है। इनमें सिटी मैनेजर और CLTC स्तर के अधिकारी शामिल हैं। नगर विकास विभाग ने इनके कार्यों की समीक्षा करने के बाद इनके कांट्रैक्ट को रद्द करने का आदेश दिया है। विभाग ने प्रधानमंत्री आवास योजना (PMAY) आवास निर्माण की प्रगति की समीक्षा की थी, जिसमें सात निकायों का परफॉरमेंस काफी खराब मिला था।
इन निकायों में स्वीकृत योजनाओं का कंप्लीशन रेट काफी कम है, जो संभावित कार्य अवधि में पूर्ण किया जाना असंभव प्रतीत हो रहा था। विभाग के सहायक निदेशक की ओर से जारी आदेश में स्पष्ट कहा गया है कि कई बार प्रोजेक्ट के पूर्ण करने के लिए निर्देश दिया गया है, लेकिन इन्होंने काम पूर्ण करने में रूची नहीं ली। काम की प्रगति असंतोषजनक रही। ऐसे में विभाग ने कार्यों की समीक्षा के बाद निम्नस्तरीय कार्य प्रदर्शन, काम में लापरवाही, अनुशासनहीनता, विकास कार्यों में अभिरुचि और लोकसेवा में अनुपयुक्त मानते हुए सभी कर्मियों की सेवा समाप्त करने का फैसला लिया गया है।
इन सिटी मैनेजर्स और सीएलटीसी की सेवा समाप्त..
मनीष कुमार-सिटी मैनेजर-मिहीजाम, प्रकाश कुमार-सिटी मैनेजर-मधुपुर, अनुराग कुमार-सिटी मैनेजर-रामगढ़, हिमांशु मिश्रा-सिटी मैनेजर-गुमला, अनुज कुमार-CLTC-गिरिडीह, रिचर्ड बैंशन-सिटी मैनेजर-गिरिडीह, दीपक कुमार-CLTC-गिरीडीह, अजमल हुसैन-सिटी मैनेजर-गिरिडीह, कुमार शुभम बाबा-सिटी मैनेजर-गिरिडीह, विजय कुमार-सिटी मैनेजर-लोहरदगा, हरिकांत उपाध्याय-CLTC-लोहरदगा, समुनकांत झा-CLTC-जामताड़ा