बहोरनपुर से चोरी हुई बुद्ध की 1200 वर्ष पुरानी दो मूर्तियां आखिरकार बरामद कर ली गई है। हजारीबाग पुलिस ने 72 घंटे के अंदर इस मामले को सुलझा लिया। इसके साथ ही इस मामले में पुलिस ने घटना को अंजाम देने वाले 5 आरोपियों को भी गिरफ्तार किया है।
हालांकि मूर्तियां बरामद होने की खबर सुबह ही आ चुकी थी लेकिन पुलिस की तरफ से इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई थी। इसके बाद गुरुवार की शाम एसपी कार्तिक एस, उपायुक्त आदित्य आनंद और एसडीएम विद्याभूषण ने संयुक्त रूप से प्रेसवार्ता कर इसकी जानकारी दी।
गिरफ्तार हुए 5 तस्करों में प्रेमशंकर और नरेश राय बिहार बांका का रहने वाला है। वहीं कुमार सुजीत सिंह, यतीश कुमार और संजय अग्रवाल रांची का रहने वाला है।
एसपी कार्तिक एस ने बताया कि अखबार और अन्य समाचार स्रोत के जरिए कुमार सुजीत सिंह को जानकारी मिली कि हजारीबाग में खुदाई में बुद्ध की बेहद कीमती मूर्ति निकली है। जिसके बाद इन पांचों ने मूर्ति चोरी की योजना बनाकर घटना को अंजाम दिया। इस मामले में हजारीबाग पुलिस ने सबसे पहले रांची से कुमार सुजीत सिंह को गिरफ्तार किया गया। उससे पूछताछ करने के बाद संजय अग्रवाल की गिरफ्तारी हुई। फिर संजय अग्रवाल ने पूछताछ में अपने परिचित यतीश कुमार का नाम लिया और बताया के उसके घर पर ही मूर्ति रखा है। जिसके बाद पुलिस ने कार्रवाई करते हुए मूर्ति बरामद किया। इन तीनों से पूछताछ के बाद बिहार के बांका से दो अन्य प्रेमशंकर और नरेश राय की गिरफ्तारी हुई है।
गौरतलब है कि बुद्ध की मूर्ति चोरी होने का मामला पूरे देशभर में चर्चा का विषय बना हुआ था। चोरों की गिरफ्तारी के लिए एसआईटी का गठन किया गया था, जिसमें 30 पुलिस पदाधिकारी थे। एसपी ने बताया कि दो डीएसपी, चार इंस्पेक्टर, पांच थाना प्रभारी की टीम 3 दिनों तक लगातार इस मामले को लेकर जांच कर रही थी। काफी मेहनत के साथ ऑपरेशन चलाया गया जिसका परिणाम आज सामने आया।