लातेहार जिले के मनिका में ग्राम स्वराज अभियान के तत्वावधान में स्कूल खोलो-ऑनलाइन छोड़ो रैली निकाली गयी। इसे प्रो ज्यां द्रेज ने संबोधित किया। उन्होंने कहा कि झारखंड की हेमंत सोरेन सरकार गरीबों के खिलाफ साजिश कर रही है। छोटे बच्चों के स्कूलों को नहीं खोलकर गरीब परिवार के साथ अन्याय कर रही है। उन्होंने कहा कि झारखंड की जनता स्कूल खोलना चाहती है, तो सरकार स्कूल खोलने पर विचार क्यों नहीं कर रही है। दो साल से बच्चे स्कूल नहीं गये हैं और पहले से पढ़ी चीजों को भी भूलते जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में कोरोना का खतरा भी कम है। बावजूद इसके स्कूल नहीं खोला जा रहा है, जबकि बड़े-बड़े मॉल खुल रहे हैं और खचाखच भरे स्टेडियम में मैच हो रहा है। इतना ही नहीं, झारखंड के मुख्यमंत्री ने भी आज पलामू के एक स्टेडियम में हजारों की संख्या में उपस्थित लोगों के साथ कार्यक्रम किया।
बता दें की कोरोना काल में सबसे ज्यादा प्रभावित बच्चों की शिक्षा हुई है। वैसे तो स्कूलों की ओर से ऑनलाइन क्लासेस ली जा रही हैं, लेकिन ऑनलाइन शिक्षा के साथ कई तरह की दिक्कतें भी जुड़ी हुई हैं। सबसे बेसिक समस्या तो गैजेट की है, जैसे की स्मार्ट फोन, टैबलेट या लैपटॉप, जिस तक सभी की पहुंच मुमकिन नहीं है। ऐसे में बच्चों के लिए सुगम शिक्षा हासिल करना मुश्किल हो गया है। खासकर ग्रामीण क्षेत्रों में निवास करने वाले अधिकांश परिवार के बच्चों के साथ तो ऐसा ही है। स्मार्ट फोन खरीदने में सक्षम ना होने के कारण ऐसे परिवार के बच्चों की शिक्षा प्रभावित हो रही है। लातेहार के गांवों के कई परिवारों को ऐसी ही मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। पिछले दो सालों से कोरोना के कारण स्कूल बंद होने और ऑनलाइन शिक्षा से दूर होने के कारण आज बच्चे शब्दों को भी ठीक से पहचानने में असमर्थ हैं।
ऐसा ही हाल ज्यादातर बच्चों का है। लॉकडाउन के चलते वे पढ़ाई भूल चुके हैं। निजी स्कूलों में पढ़ने वाले शहर के बच्चे ट्यूशन और ऑनलाइन पढ़ाई का खर्च उठा सकते हैं, लेकिन बेहद गरीब और ग्रामीण क्षेत्रों के बच्चों के पास इस तरह के विकल्प नहीं है। ऐसे में स्कूलों को जल्दी खोलने की मांग जोर पकड़ने लगी है, ताकि ग्रामीण इलाकों के बच्चों की शिक्षा फिर से पटरी पर लौट सके। लंबे समय से स्कूल बंद होने के कारण स्कूल परिसर भी बदहाल हालात में है। कुल मिलाकर महामारी की मुश्किलें अपनी जगह है। लेकिन इससे प्रभावित हो रही बच्चों की शिक्षा के लिए जल्द कोई ना कोई ठोस फैसला लिए जाने की सख्त जरुरत है।
प्रो ज्यां द्रेज ने कहा कि जब सब कुछ चालू है तो स्कूल क्यों बंद है। बड़े लोगों के बच्चे ऑनलाइन पढ़ाई कर रहे हैं। सरकार गरीब के बच्चों को अनपढ़ बना कर रखना चाहती है। इससे पहले बालक उच्च विद्यालय से एक रैली निकाली गयी। रैली शहर के मुख्य पथ होते हुए प्रखंड कार्यालय पहुंची। प्रखंड कार्यालय में रैली में शामिल बच्चे व ग्रामीणों ने स्कूल खोलो-ऑनलाइन छोड़ो के नारे लगाये।