74वें गणतंत्र दिवस पर नयी दिल्ली का कर्तव्य पथ (पूर्व में राजपथ) पर दो साल बाद एक बार फिर झारखंड की झांकी दिखी। झारखंड की झांकी में भगवान बिरसा मुंडा और बाबा बैद्यनाथ धाम की छटा देखते ही बन रही थी। इस झांकी में बाबा बैद्यनाथ धाम का मॉडल और धरती आबा भगवान बिरसा विराजमान थे। गणतंत्र दिवस पर कर्तव्य पथ पर 23 झांकियां की प्रदर्शनी की अनुमति मिली थी, जिसमें से एक थी झारखंड की झांकी। झारखंड की झांकी में सबसे आगे भगवान बिरसा मुंडा को दर्शाया गया। जिनके साथ लोक कलाकार साथ-साथ चलते नजर आए। लोक कलाकार वाद्य यंत्र के साथ नजर आए। उसके बाद बैद्यनाथ मंदिर की झांकी निकली। झारखंड की झांकी की खूब तारीफ भी हुई।
बता दें कि देवघर में स्थित बाबा बैद्यनाथ मंदिर विश्व का एकमात्र शिवालय है, जहां पर शिव और शक्ति एक साथ विराजमान हैं। यही कारण है कि इसे शक्ति पीठ और हृदय पीठ भी कहते हैं। पौराणिक कथाओं के अनुसार देवघर में ही माता सती का ह्रदय कट कर गिरा था, इसलिए इसे हृदय पीठ भी कहते हैं। सावन के महीने में यहां लाखों श्रद्धालु महादेव को जल चढ़ने के लिए आते हैं। इस साल गणतंत्र दिवस के मौके पर 23 झांकियां पेश की गईं। इसमें से 17 झांकियां देश के अलग-अलग राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों की थीं। इसके साथ ही 6 झांकियां सरकारी मंत्रालयों और विभागों से जुड़ी थीं। रक्षा मंत्रालय के मुताबिक, इस साल पश्चिम बंगाल, असम, अरुणाचल प्रदेश, उत्तर प्रदेश, त्रिपुरा और जम्मू-कश्मीर समेत 17 राज्यों की झांकियां प्रदर्शित की गई। इस साल परेड के दौरान हिमाचल प्रदेश, बिहार, छत्तीसगढ़, राजस्थान और दिल्ली की झांकी नहीं निकाली गई थी।