राज्य की निजी क्षेत्र की कंपनियों में 30 हजार तक के वेतन वाले पदों पर 75 प्रतिशत स्थानीय को आरक्षण और सलाना 5 हजार बेरोजगारी भत्ता के प्रस्ताव पर कैबिनेट की मुहर लगा दी गई है। हालांकि सरकार की ओर से इसकी अधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है। लेकिन, सूत्रों की मानें तो 19 मार्च को विधानसभा में इसे रखा जाएगा।
इसके अलावा कैबिनेट ने बैठक में लगभग डेढ़ दर्जन प्रस्तावों को स्वीकृति प्रदान कर दी है। इनमें ऊंची इमारतों के निर्माण के लिए पहले जहां 1000 वर्ग मीटर (10 हजार वर्ग फीट) से कम भूमि पर हाई राइज बिल्डिंग बनाने पर पाबंदी थी, कैबिनेट ने उसे संशोधित करने के प्रस्ताव को स्वीकृति दे दी है। इसके साथ ही अब हजार वर्ग मीटर से कम भूमि पर जी प्लस फाइव से ऊंची इमारतें बन सकेंगी।
वहीं धनबाद में बन रही 8-लेन सड़क के कारण जो लोग विस्थापित हुए हैं उनके लिए पुनर्वासन नीति को भी स्वीकृति प्रदान कर दी गई है। इसके तहत सरकारी जमीन पर बने आवासों को हटाने पर प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत एक आवास आवंटित किया जाएगा, पांच हजार रुपये मिलेंगे और न्यूनतम निर्धारित मजदूरी के हिसाब से 30 दिनों की मजदूरी मिलेगी। जिन लोगों की सड़क किनारे दुकानें हैं उन्हें भी पांच हजार रुपये, 30 दिन की मजदूरी, दुकान की कीमत के बराबर आर्थिक सहायता और वेडिंग जोन में प्राथमिकता के आधार पर आवंटन जैसी सुविधाएं दी जाएंगी।
इसके जो मुख्य फैसले कल की कैबिनेट की बैठक में हुए हैं-
1. वर्ष 2004 से अंशदाई पेंशन योजना का लाभ: राज्य सरकार के जो कर्मी अंशदाई पेंशन योजना से जुड़े हैं उन्हें एक दिसंबर 2004 की तिथि से केंद्रीय कर्मियों की तरह इस योजना का लाभ मिलेगा। वर्तमान में 3 जुलाई 2019 से योजना का लाभ दिया जा रहा था।
2. सोलर पैनल से बिजली के लिए 28.81 करोड़ : राज्य में सौभाग्य योजना के तहत 137 गांव के 7776 घरों तक सोलर पैनल से बिजली पहुंचाने के लिए 28.81 करोड़ रुपए की प्रशासनिक मंजूरी दी गई है। योजना के अंतर्गत इस वित्तीय वर्ष में 5.94 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। ये सभी वैसे गांव हैं जहां ग्रिड से बिजली की सुविधा नहीं है।
3. राज्य या बाहर में मंत्रियों के इलाज का खर्च सरकार उठाएगी : राज्य के मंत्रियों की किसी भी तरह की बीमारी का इलाज राज्य में हो या राज्य के बाहर, अस्पताल का पूरा खर्च सरकारी होगा। इसके अलावा अगर एयर एंबुलेंस की आवश्यकता पड़ती है तो उसका भी खर्च राज्य सरकार ही उठाएगी। दरअसल हाल के दिनों में मंत्री जगरनाथ महतो के इलाज के क्रम में आई मुश्किलों को देखते हुए मंत्रियों के वेतन-भत्ता से संबंधित नियमावली को संशोधित किया गया है।
4. स्वर्णरेखा परियोजना का बजट लगभग दोगुना हुआ: स्वर्णरेखा परियोजना के लिए पुनरीक्षित प्राक्कलन 12845 करोड़ रुपये का हो गया है। इसके पूर्व 2010 में पुनरीक्षित प्राक्कलन 6613 करोड़ रुपये का था। यह इस परियोजना का छठा पुनरीक्षित प्राक्कलन है।
5. चिरौंदी में साइंस सेंटर का होगा विकास: राजधानी रांची के चिरौंदी स्थित साइंस सिटी को विकसित किया जाएगा| इसके लिए सरकार ने नए सिरे से डीपीआर बनाने की जिम्मेदारी राष्ट्रीय विज्ञान संग्रहालय कोलकाता को दी है। इसके लिए 29.50 लाख रुपये का भुगतान किया जाएगा।
6. आयुष चिकित्सकों को डीएसीपी का लाभ मिलेगा।
7. लोकायुक्त कार्यालय के लिए चालक, रसोइया समेत दस पदों को स्वीकृति दी गई।