धनबाद:जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हाल में हुए आतंकी हमले की जांच अब झारखंड तक पहुंच गई है। 26 अप्रैल को झारखंड पुलिस की एंटी टेररिज़्म स्क्वॉड (ATS) ने धनबाद ज़िले के कुख्यात वासेपुर इलाके में छापेमारी कर तीन संदिग्धों को हिरासत में लिया है। यह कार्रवाई वासेपुर के मखदूमपुर और मिल्लत नगर क्षेत्रों में की गई, जिससे पूरे इलाके में हड़कंप मच गया।
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सूत्रों के अनुसार, ATS को कुछ तकनीकी सुराग और संदिग्ध संपर्क मिले थे, जिनके आधार पर यह छापेमारी की गई। हिरासत में लिए गए लोगों से पूछताछ की जा रही है और यह पता लगाने की कोशिश हो रही है कि कहीं उनका संबंध पहलगाम हमले की साज़िश या आतंकियों के नेटवर्क से तो नहीं है। हालांकि, अब तक किसी भी संदिग्ध के नाम या उनके हमले से सीधे जुड़ाव की आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है।
जांच एजेंसियां विशेष रूप से यह समझने की कोशिश कर रही हैं कि क्या वासेपुर के आपराधिक नेटवर्क से आतंकी संगठनों को रसद, आर्थिक मदद या ग्राउंड सपोर्ट मिला है। वासेपुर लंबे समय से संगठित अपराध और अवैध हथियारों के लिए बदनाम रहा है, जिस कारण सुरक्षा एजेंसियां इस एंगल को गंभीरता से ले रही हैं। छापेमारी के दौरान स्थानीय पुलिस ने क्षेत्र को घेरकर ATS का सहयोग किया और कुछ इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों व दस्तावेज़ों को जब्त किया गया है, जिनकी जांच जारी है।
बोकारो से भी जुड़ता संदिग्ध सोशल मीडिया लिंक
इसी सिलसिले में बोकारो जिले के बालीडीह थाना क्षेत्र में मोहम्मद नौशाद नामक व्यक्ति को सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक और देशविरोधी पोस्ट डालने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। नौशाद ने ‘X’ (पूर्व में ट्विटर) पर पहलगाम हमले को लेकर पाकिस्तान और लश्कर-ए-तैयबा की खुलकर प्रशंसा की थी। पोस्ट वायरल होने के बाद मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने उसे त्वरित कार्रवाई में हिरासत में लेकर न्यायिक हिरासत में भेज दिया।
पुलिस जांच में सामने आया है कि नौशाद के सोशल मीडिया अकाउंट से जुड़े 150 से अधिक फॉलोवर संदिग्ध हैं, जिनकी जांच टेक्निकल सेल कर रही है। इसके अलावा, नौशाद की पृष्ठभूमि की भी जांच हो रही है कि क्या उसका किसी पूर्व आतंकी गतिविधि से जुड़ाव रहा है, विशेष रूप से 2013 के पटना गांधी मैदान ब्लास्ट से संबंधित संभावित लिंक की भी पड़ताल हो रही है।
राज्य और केंद्र की एजेंसियां अलर्ट
झारखंड पुलिस के साथ-साथ केंद्र सरकार की खुफिया एजेंसियां भी इस मामले की बारीकी से जांच कर रही हैं। राज्य के डीजीपी अनुराग गुप्ता ने बयान दिया है कि देशविरोधी गतिविधियों में संलिप्त किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा और कठोर कार्रवाई की जाएगी। नौशाद की गिरफ़्तारी के बाद स्थानीय मुस्लिम समुदाय ने भी उसके कृत्य की निंदा की है और सामाजिक बहिष्कार की घोषणा की है।
देशभर में सुरक्षा एजेंसियां सतर्क
पहलगाम हमले के बाद देश के विभिन्न राज्यों में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है। रेलवे स्टेशनों, बस अड्डों, धार्मिक स्थलों और भीड़-भाड़ वाले स्थानों पर अतिरिक्त सुरक्षा बलों की तैनाती की गई है। धनबाद रेलवे स्टेशन पर भी RPF ने विशेष तलाशी अभियान चलाया है। केंद्र सरकार ने सभी राज्यों को अलर्ट पर रहने का निर्देश दिया है, जबकि IB और R&AW जैसी केंद्रीय एजेंसियां स्थानीय पुलिस के साथ मिलकर अंतरराज्यीय कड़ियों की जांच कर रही हैं।
हालांकि अभी वासेपुर में हिरासत में लिए गए लोगों और पहलगाम हमले के बीच कोई सीधा संबंध साबित नहीं हुआ है, लेकिन जांच एजेंसियों ने एहतियातन इन कड़ियों की गहराई से पड़ताल शुरू कर दी है। झारखंड जैसे राज्य, जहां संगठित अपराध का लंबा इतिहास रहा है, वहां से आतंकी गतिविधियों के लिए संभावित समर्थन की आशंका को नज़रअंदाज़ नहीं किया जा सकता। आने वाले दिनों में जांच से कई अहम खुलासे होने की उम्मीद है।