केंद्रीय प्रतिनियुक्ति से लौटने के बाद 1993 बैच के भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) अधिकारी एमएस भाटिया ने झारखंड में योगदान दे दिया है। वे डीजी रैंक में प्रोन्नत हो चुके हैं। शुक्रवार को उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मुलाकात की और अपनी सेवा पुनः आरंभ की। उनके साथ वर्तमान में राज्य में डीजी रैंक के चार अधिकारी कार्यरत हैं। इनमें डीजी गृह रक्षा वाहिनी सह अग्निशमन 1990 बैच के आईपीएस अधिकारी अनिल पाल्टा, इसी बैच के डीजीपी अनुराग गुप्ता, 1992 बैच के आईपीएस अधिकारी सह डीजी वायरलेस प्रशांत सिंह तथा 1993 बैच के एमएस भाटिया शामिल हैं।
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सूत्रों के अनुसार, एमएस भाटिया को जल्द ही कोई महत्वपूर्ण जिम्मेदारी सौंपी जाएगी। झारखंड पुलिस में अब नियमित डीजीपी की नियुक्ति की प्रक्रिया भी तेज हो गई है। वर्तमान में 1990 बैच के आईपीएस अधिकारी अनुराग गुप्ता झारखंड पुलिस के प्रभारी डीजीपी के रूप में कार्यरत हैं। नियमतः उनकी सेवानिवृत्ति अप्रैल में होनी है, इससे पूर्व झारखंड पुलिस के डीजीपी के पद पर नियमित नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। डीजीपी की नियुक्ति को लेकर कैबिनेट से नियमावली को स्वीकृति मिल चुकी है।
सेवानिवृत्त हुए डीजी और आईजी रैंक के अधिकारी
झारखंड पुलिस हाउसिंग कॉर्पोरेशन लिमिटेड के अध्यक्ष सह प्रबंध निदेशक अजय कुमार सिंह, डीजी मुख्यालय आरके मल्लिक और आईजी जैप राजकुमार लकड़ा शुक्रवार को सेवानिवृत्त हो गए। इन तीनों अधिकारियों को उनकी सेवा निवृत्ति पर आईपीएस ऑफिसर्स एसोसिएशन ने डोरंडा के जैप वन स्थित खुखरी गेस्ट हाउस में सम्मानपूर्वक विदाई दी। इससे पूर्व जैप वन स्थित परेड ग्राउंड में जवानों ने डीजी अजय कुमार सिंह के सम्मान में विदाई परेड आयोजित की। एक दिन पहले डीजी आरके मल्लिक के सम्मान में भी विदाई परेड का आयोजन किया गया था।
झारखंड पुलिस प्रशासन में इन बदलावों को लेकर अधिकारियों और कर्मियों में नई ऊर्जा देखने को मिल रही है। एमएस भाटिया की वापसी और डीजीपी पदस्थापन की प्रक्रिया शुरू होने से झारखंड पुलिस व्यवस्था को और मजबूती मिलने की उम्मीद है।