झारखंड चुनाव 2024: 22 अक्टूबर को दूसरे चरण की अधिसूचना, 20 नवंबर को मतदान….

झारखंड विधानसभा चुनाव 2024 के दूसरे चरण की अधिसूचना मंगलवार, 22 अक्टूबर 2024 को जारी होगी. इसके साथ ही राज्य की 38 विधानसभा सीटों के लिए नामांकन प्रक्रिया शुरू हो जाएगी. इन सीटों में से तीन सीटें अनुसूचित जाति (एससी) के लिए और आठ सीटें अनुसूचित जनजाति (एसटी) के लिए आरक्षित हैं. यह चुनाव झारखंड के लिए बेहद महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह राज्य नक्सलवाद से काफी लंबे समय तक प्रभावित रहा है. इस बार चुनाव आयोग ने सिर्फ दो चरणों में विधानसभा चुनाव कराने का फैसला किया है, जो राज्य के लिए एक नई व्यवस्था है. इससे पहले चुनाव कई चरणों में होते थे, जो मतदान प्रक्रिया को अधिक समय और संसाधनों की आवश्यकता होती थी.

चुनाव प्रक्रिया और तिथियां

दूसरे चरण के तहत अधिसूचना जारी होते ही नामांकन का सिलसिला शुरू हो जाएगा, और उम्मीदवार 29 अक्टूबर तक अपने नामांकन दाखिल कर सकेंगे. इसके बाद 30 अक्टूबर को नामांकन पत्रों की जांच होगी, जिससे यह सुनिश्चित किया जाएगा कि सभी उम्मीदवार चुनाव लड़ने के योग्य हैं. जो उम्मीदवार नाम वापस लेना चाहते हैं, वे 1 नवंबर तक ऐसा कर सकते हैं. झारखंड विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण की वोटिंग 20 नवंबर को होगी. इस चरण में 38 सीटों पर मतदान किया जाएगा. इसके बाद, 23 नवंबर को मतगणना होगी और सभी 81 विधानसभा सीटों के नतीजे घोषित किए जाएंगे. निर्वाचन प्रक्रिया 25 नवंबर 2024 तक पूरी कर ली जाएगी. झारखंड की जनता इस बार किसे अपना प्रतिनिधि चुनती है, यह नतीजे बताएंगे, जो राज्य के भविष्य को प्रभावित कर सकते हैं.

सीटों का आरक्षण और नक्सलवाद का असर

जिन 38 सीटों के लिए नामांकन प्रक्रिया शुरू हो रही है, उनमें से कई सीटें अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं. इन सीटों में से अनुसूचित जाति के लिए तीन सीटें आरक्षित हैं: देवघर, जमुआ और चंदनकियारी. वहीं, अनुसूचित जनजाति के लिए आठ सीटें आरक्षित हैं: बोरियो, बरहेट, लिट्टीपाड़ा, महेशपुर, शिकारीपाड़ा, दुमका, जामा और खिजरी. झारखंड राज्य का एक बड़ा हिस्सा नक्सलवाद से प्रभावित रहा है. हालांकि, पिछले कुछ वर्षों में नक्सलवाद पर नियंत्रण पाया गया है, लेकिन यह राज्य की राजनीति और चुनावी प्रक्रिया पर गहरा असर डालता है. इसलिए इस बार दो चरणों में चुनाव कराए जा रहे हैं, ताकि मतदान प्रक्रिया को सुगम बनाया जा सके और सुरक्षा के बेहतर इंतजाम किए जा सकें. इसके पहले झारखंड में विधानसभा चुनाव चार या पांच चरणों में होते थे, जिससे नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में मतदान प्रक्रिया को सुरक्षित रखने में कठिनाइयां आती थीं.

पिछले चुनाव और वर्तमान स्थिति

15 अक्टूबर 2024 को भारत निर्वाचन आयोग ने झारखंड विधानसभा चुनाव की घोषणा की थी. इसके साथ ही पूरे राज्य में आदर्श आचार संहिता लागू हो गई थी, जो कि चुनाव प्रक्रिया को पारदर्शी और निष्पक्ष बनाने के लिए महत्वपूर्ण है. पहले चरण की अधिसूचना 18 अक्टूबर को जारी हुई थी, जिसके तहत 43 सीटों पर मतदान होना है. पहले चरण के लिए नामांकन 25 अक्टूबर तक होंगे, जबकि दूसरे चरण के लिए नामांकन 22 अक्टूबर से शुरू होकर 29 अक्टूबर तक चलेगा. इस बार झारखंड की 81 विधानसभा सीटों के लिए मतदान सिर्फ दो चरणों में किया जा रहा है, जो राज्य के लिए एक नई व्यवस्था है. इससे पहले झारखंड में विधानसभा चुनाव चार या पांच चरणों में होते थे, ताकि नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में सुरक्षा के साथ मतदान कराए जा सकें. 2024 के लोकसभा चुनावों में भी राज्य की 14 सीटों पर चार चरणों में मतदान हुआ था. लेकिन इस बार चुनाव आयोग ने राज्य में दो चरणों में मतदान कराने का निर्णय लिया है, जिससे चुनाव प्रक्रिया तेज और सुरक्षित तरीके से पूरी की जा सके.

दूसरे चरण की सीटें

दूसरे चरण की सीटों में झारखंड के कई महत्वपूर्ण क्षेत्रों को शामिल किया गया है. इन सीटों में प्रमुख रूप से राजमहल, पाकुड़, नाला, जामताड़ा, मधुपुर, देवघर, गोड्डा, रामगढ़, धनवार, गिरिडीह, धनबाद और बोकारो जैसी सीटें शामिल हैं. इसके अलावा अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित सीटें भी इस चरण में शामिल हैं, जो राज्य की राजनीतिक और सामाजिक संरचना में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं. इस चुनाव में राज्य के कई महत्वपूर्ण मुद्दे उठाए जा रहे हैं, जिनमें नक्सलवाद, बेरोजगारी, ग्रामीण विकास, और आदिवासी अधिकार शामिल हैं. झारखंड की राजनीति में आदिवासी और अनुसूचित जाति के अधिकार हमेशा से महत्वपूर्ण रहे हैं, और इस बार के चुनाव में भी यह एक प्रमुख मुद्दा है. इन चुनावों के नतीजे यह तय करेंगे कि आने वाले पांच वर्षों में झारखंड की राजनीति और विकास की दिशा क्या होगी.

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