रांची से हमारे संवाददाता ने बताया कि राजधानी रांची की सब्जी मंडियों में टमाटर की आपूर्ति घटने से इसकी कीमतों में बेतहाशा वृद्धि हो गई है. बुधवार को रांची की अलग-अलग सब्जी मंडियों में टमाटर 80 से 100 रुपये प्रति किलो के बीच बिकता देखा गया. हैरानी की बात यह है कि कुछ स्थानों पर यह 120 रुपये प्रति किलो तक भी पहुंच गया है.
मांग और आपूर्ति में असंतुलन..
टमाटर की कीमत में आई तेजी पर कारोबारियों का कहना है कि रांची में प्रतिदिन करीब 20 टन टमाटर की खपत है. हालांकि, वर्तमान में केवल 10 टन टमाटर ही रांची की मंडियों में पहुंच रहा है. इस असंतुलन के कारण टमाटर की कीमतों में बेतहाशा वृद्धि हो रही है. मांग के हिसाब से आपूर्ति नहीं हो पाने के कारण कीमतों में यह उछाल आया है.
कीमतें दोगुनी हो गईं..
पिछले नौ दिनों में टमाटर की कीमतें दोगुनी हो गई हैं. पहले टमाटर की कीमत 40 से 60 रुपये प्रति किलो थी, जो अब 80 से 100 रुपये और कहीं-कहीं 120 रुपये प्रति किलो तक पहुंच गई है. इस तरह अचानक से हरी सब्जियों की कीमतें बढ़ने से भी लोग परेशान हैं.
मौसम का असर..
जिले के प्रमुख सब्जी मंडी में शामिल नगड़ी के नारे बाजार में बुधवार को लोकल टमाटर 30-35 रुपये और उद्धव में 40 से 50 रुपये प्रति किलो बिकता देखा गया. बेंगलुरू से आने वाला टमाटर 60 रुपये किलो की ऊंचाई पर बिकता रहा. व्यापारी बताते हैं कि इस साल मौसम की मार से फसल की तैयारी ठीक से नहीं हो पाई है. साथ ही अत्यधिक बारिश और बाद में सूखे की स्थिति ने पानी जमा होने से टमाटर की फसलें खराब हुईं. इससे भी उत्पादन पर असर पड़ा है.
टमाटर की आपूर्ति में कमी..
टमाटर की आपूर्ति में आई कमी पर रांची के प्रमुख सब्जी मंडी के अध्यक्ष ने बताया कि मौजूदा समय में रांची की मंडियों में प्रतिदिन लगभग 10 टन टमाटर ही पहुंच रहा है, जबकि मांग लगभग दोगुनी है. इससे टमाटर की कीमतों में अचानक वृद्धि हो गई है.
बाजार की स्थिति..
बुधवार को टमाटर 40 से 50 रुपये प्रति किलो बिकने के बाद भी बाजार में खरीददारों की भीड़ देखी गई. वहीं, बाहरी राज्यों से आने वाले टमाटर 60 से 100 रुपये प्रति किलो की दर से बिक रहे हैं. प्रमुख मंडियों में व्यापारी बताते हैं कि टमाटर की कीमतें उच्चतम स्तर पर पहुंच गई हैं. इस समय नारे बाजार में लोकल टमाटर 40 से 50 रुपये प्रति किलो और बेंगलुरू टमाटर 60 रुपये प्रति किलो पर बिकता रहा.
सरकारी प्रयास..
सरकार ने इस समस्या को गंभीरता से लिया है और आपूर्ति में सुधार के लिए विभिन्न कदम उठा रही है. कृषि विभाग के अधिकारियों ने बताया कि टमाटर की खेती को बढ़ावा देने के लिए किसानों को प्रोत्साहित किया जा रहा है. साथ ही, अन्य राज्यों से भी टमाटर की आपूर्ति बढ़ाने के प्रयास किए जा रहे हैं ताकि मांग और आपूर्ति के बीच का अंतर कम किया जा सके.
समीक्षा..
टमाटर की कीमतों में इस वृद्धि ने आम लोगों की रसोई का बजट बिगाड़ दिया है. सब्जी विक्रेता और खरीदार दोनों ही इस स्थिति से परेशान हैं. हालांकि, यह स्थिति अस्थायी हो सकती है, लेकिन फिलहाल के लिए यह एक बड़ी समस्या बन गई है.